देश का पहला हिंदी हेल्थ न्यूज़ पोर्टल

उत्तर प्रदेश

दावा: सिज़ोफ्रेनिया बिना दवा के शत प्रतिशत ठीक हो सकता है। 

एंटीसाइकोटिक दवाएं मानसिक कोहरे और संज्ञानात्मक हानि जैसे कई अप्रिय दुष्प्रभावों का कारण बनती हैं। ये सिज़ोफ्रेनिया को ठीक करने के लिए नहीं बल्कि केवल व्यक्ति को अधिक सुस्त दिखाने और बनाने के लिए किए जाते हैं।

दावा: सिज़ोफ्रेनिया बिना दवा के शत प्रतिशत ठीक हो सकता है। 

लखनऊ। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, 2019 में 20 मिलियन लोगों को सिज़ोफ्रेनिया था और यह प्रतिदिन अधिक से अधिक लोगों को अपने प्रभाव में ले रहा है। सिज़ोफ्रेनिया एक पुराना मानसिक विकार है। किशोरावस्था में इसके लक्षण शुरू होते हैं। व्यवहार में परिवर्तन या मनोदशा और नींद की कमी इसके शुरुआती लक्षण हो सकते हैं। गंभीरता बढ़ने पर उपचार कठिन हो जाता है।

डॉक्टरों का मानना है कि दवा का सेवन किए बिना सिज़ोफ्रेनिया का इलाज असंभव है। डॉ कैलाश मंत्री का दावा है कि वह पिछले 25 वर्षों से लोगों को बिना दवा के सिज़ोफ्रेनिया से बचाने में मदद कर रहें है।

डॉ कैलाश मंत्री बिना दवा के सिज़ोफ्रेनिया के इलाज के लिए एक क्रांतिकारी दृष्टिकोण तैयार करने की बात कहतें हैं। वह एडीएचडी, चिंता, आत्मकेंद्रित, द्विध्रुवी विकार, अवसाद, अनिद्रा, हकलाना, ओसीडी, मानसिक बीमारी आदि का इलाज करते हैं।

डॉ कैलाश मंत्री ने बताया कि मानसिक बीमारी को ठीक करने के लिए कोई दवा उपलब्ध नहीं है। एंटीसाइकोटिक दवाएं मानसिक कोहरे और संज्ञानात्मक हानि जैसे कई अप्रिय दुष्प्रभावों का कारण बनती हैं। ये सिज़ोफ्रेनिया को ठीक करने के लिए नहीं बल्कि केवल व्यक्ति को अधिक सुस्त दिखाने और बनाने के लिए किए जाते हैं। सिज़ोफ्रेनिया एक मनोवैज्ञानिक और भावनात्मक विकार है और इसमें दवाओं की कोई भूमिका नहीं है।

डॉ कैलाश मंत्री बतातें हैं कि दवाएं केवल मस्तिष्क और रोगी के तंत्रिका तंत्र को उत्तेजित करती हैं। यह आगे चलकर सिज़ोफ्रेनिया से पीड़ित व्यक्ति के शरीर और मस्तिष्क को बर्बाद करके उपचार को और कठिन बना देता है। सिज़ोफ्रेनिया के मरीज़ जिन्होंने कोई दवा नहीं ली है, उन लोगों पर इलाज का प्रभाव अपेक्षाकृत अधिक दिखाई पड़ता है।

डॉ कैलाश मंत्री एक लाइफ कोच हैं। वह किसी भी दवा का प्रबंध किए बिना सिज़ोफ्रेनिया और कई अन्य मानसिक रोगों से पीड़ित रोगियों का इलाज करते हैं। जबकि आम धारणा है कि दवा के बिना इस बीमारी का इलाज संभव नहीं है। 

वे बतातें हैं कि उन्होंने एक समर्पित शोध के साथ एक प्राकृतिक उपचार पद्धति विकसित किया है। अब इस बीमारी का इलाज संभव है और इससे पीड़ित व्यक्ति सामान्य जीवन जी सकते हैं।

डॉ कैलाश का मानना है कि सभी प्रकार की मानसिक बीमारियों का इलाज किसी भी दवा के बिना स्वाभाविक रूप से किया जा सकता है। डॉ कैलाश मंत्री की एक योजना मानसिक रोगियों के लिए 10,000 बेड का अस्पताल स्थापित करने की है। उनके जीवन का लक्ष्य 10 लाख मानसिक रोगियों को बिना किसी दवा के ठीक करना है ।

WHAT'S YOUR REACTION?

  • 1
  • 0
  • 0
  • 0
  • 0
  • 0
  • 0

COMMENTS

उत्तर प्रदेश

48 घण्टे और 50 डॉक्टर्स लेकिन कीमती थे 35 मिनट, मरीज को निष्प्राण कर दिया नवजीवन

रंजीव ठाकुर September 11 2022 28353

48 घण्टे तक चले सर्जिकल प्रोसीजर के जरिये न केवल एक महिला स्केच आर्टिस्ट को उसकी आंखों की रोशनी वापस

शिक्षा

नीट (यूजी) 2022 परीक्षा के लिए अधिसूचना जल्द ही जारी करेगा एनटीए

अखण्ड प्रताप सिंह March 24 2022 35849

राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (एनटीए) द्वारा राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा यानि नीट (यूजी) के लिए अ

राष्ट्रीय

तीन जनवरी से बच्चों को लगेगा कोरोना का टीका, एक जनवरी से कोविन पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन शुरू 

एस. के. राणा January 02 2022 17082

किशोरों को लगने वाले टीकों और साठ साल या उससे अधिक आयु के लोगों को दिए जाने वाली एहतियाती खुराक संबं

राष्ट्रीय

भारत के कई राज्यों में लगातार बढ़ रहे हैं डेंगू के मामले

श्वेता सिंह September 12 2022 14149

अभी तक की बात करें तो इस साल रिकॉर्ड 295 नए केस सामने आ रहे हैं। सितंबर में डेंगू के 51 केस सामने आ

राष्ट्रीय

वैज्ञानिकों ने कोरोना महामारी की उत्पत्ति की जांच के लिए बनी संयुक्त राष्ट्र की एजेंसी पर उठाये सवाल।   

हे.जा.स. July 03 2021 12770

कोविड-19 की उत्पत्ति का पता लगाने के लिए डब्ल्यूएचओ-चीन के संयुक्त अध्ययन के पहले हिस्से का मार्च मे

उत्तर प्रदेश

झोलाछाप डॉक्टरों के हौंसले बुलंद, गलत इलाज से बच्ची ने गंवाया पैर

आरती तिवारी May 17 2023 17622

डिप्टी सीएम ने कहा कि जिलाधिकारी और सीएमओ तत्काल मामले की जांच करें। दोषी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की

अंतर्राष्ट्रीय

चीनी लैब में कोरोना की उत्पत्ति पर डब्ल्यूएचओ ने दिया बयान

हे.जा.स. March 05 2023 11236

एफबीआई के निदेशक क्रिस्टोफर रे ने मंगलवार को मीडिया से बातचीत कहा कि अमेरिकी फेडरल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्

उत्तर प्रदेश

निजी अस्पताल में ऑक्सीजन और तय शुल्क से अधिक मांग पर प्रशासन से शिकायत करें ।

हुज़ैफ़ा अबरार May 08 2021 12705

जिला स्तर पर एडीएम प्रशासन अमर पाल सिंह, डीसीपी प्रोटोकॉल और सीएमओ इन टीमों की निगरानी करेंगे और निर

शिक्षा

B. Sc. Nurshing में सुनहरा अवसर, समझें पूरी प्रक्रिया।

अखण्ड प्रताप सिंह November 07 2021 33584

बीएससी नर्सिंग दो प्रकार का होता है। पहला बीएससी नर्सिंग बेसिक जो 4 साल का कोर्स होता है। दूसरा बीएस

उत्तर प्रदेश

राजधानी में अब स्त्रीरोग संबंधी सभी बीमारियों का इलाज एक ही छत के नीचे

रंजीव ठाकुर April 29 2022 14828

स्त्रीरोग संबंधी सभी बीमारियों का एक साथ एक जगह इलाज अभी तक किसी निजी अस्पताल में नहीं था। महिलाओं क

Login Panel