लखनऊ। गोमती नगर स्थित सहारा हॉस्पिटल में हृदय की बीमारी से पीड़ित बच्चे को डॉक्टरों ने नया जीवन दिया। सब एरियोटिक वीएसडी क्लोजर के द्वारा नवजात शिशु के हृदय के छेद की सर्जरी में सफलता मिली।
गोंडा निवासी प्रेम तिवारी का नौ माह का बच्चा दूध पीने के दौरान हांफने लगता था। तब परिजनों ने उसे गोंडा के एक अस्पताल में दिखाया, जहां उनको बड़े अस्पताल में दिखाने की सलाह दी गयी। इसके बाद बच्चे को लखनऊ के एक प्राइवेट हॉस्पिटल में दिखाया गया लेकिन बच्चे के इलाज से पिता संतुष्ट नहीं हुए।
उनके एक रिश्तेदार ने सलाह दी कि उन्होंने पहले से सहारा हॉस्पिटल में कार्डियोथोरेसिक वैस्कुलर विभाग में सफलतापूर्वक इलाज कराया है और वहां की सभी व्यवस्थाओं से संतुष्ट हैं। अब परिजनों ने बच्चे का इलाज सहारा हॉस्पिटल में कराने का निश्चय किया और मार्च महीने में उन्होंने पहली बार सहारा हॉस्पिटल की ओपीडी में कार्डियोथोरेसिक सर्जन डॉक्टर विशाल श्रीवास्तव को दिखाया, जहां बच्चे की इको- जांच में पता चला कि उसके दिल में 4 एमएम का बड़ा छेद है, तब डाक्टर ने पहले दवा देकर मरीज को ठीक करने का निश्चय किया।
डा. विशाल श्रीवास्तव के अनुसार हमारी कोशिश थी कि दवा से कुछ दिन तक काम चल जाए और इस सर्जरी को बच्चे के बड़े होने तक टाला जा सके। लगभग 2 महीने दवा चली लेकिन मरीज का जो छेद 4 एमएम था, धीरे-धीरे बढ़कर साढ़े चार तक पहुंच गया और उसकी तबीयत बिगड़ती चली गयी। मरीज क्योंकि नवजात था और इसका ऑपरेशन करना बहुत ही जटिल था, इसलिए चुनौती को स्वीकार करते हुए उन्होंने बच्चे को भर्ती करके ऑपरेशन करने का निश्चय किया। मरीज को दो दिन तक हॉस्पिटल में रखा गया, वेंटिलेटर लगाने के बाद कुछ समय के बाद वेंटिलेटर हटाया गया। यह सर्जरी जिसको सब एरियोटिक वीएसडी क्लोजर भी कहते हैं को 7 घंटे में संपन्न की गयी।
नवजात शिशु में इस तरह की सर्जरी करना बहुत ही जटिल था। इस सर्जरी में शिशु की मॉनिटरिंग की जरूरत थी, जिसमें बड़ी भूमिका सहारा हॉस्पिटल के बाल रोग विशेषज्ञ डा. एम यू हसन ने सफलतापूर्वक निभायी। इस जटिल सर्जरी में डॉ. विशाल श्रीवास्तव के अलावा कार्डियक एनेस्थीसिया के डा. दीपांकर सहगल एवं समस्त कार्डियक टेक्निकल टीम के सहयोग से सफलता मिली।
सहारा इंडिया के वरिष्ठ सलाहकार श्री अनिल विक्रम सिंह ने बताया कि हमारे अभिभावक सहाराश्री के विजन को साकार करते हुए सहारा हॉस्पिटल में 52 से अधिक विभागों में कुशल चिकित्सकों द्वारा अत्याधुनिक उपकरणों से उत्कृष्ट सेवाएं मरीजों को निरंतर प्रदान की जा रही हैं।
हॉस्पिटल के कार्डियोलॉजी विभाग में अत्याधुनिक कैथ लैब की सुविधा है, जहां कार्डियोलॉजिस्ट टीम अपने अनुभव व दक्षता के साथ मरीजों का इलाज सफलतापूर्वक कर रही है। श्री सिंह ने बताया कि सहारा हॉस्पिटल में उक्त प्रकार की छोटे बच्चे की हार्ट का छेद बंद करने की सर्जरी पूरी तरह से समस्त सेवाओं सहित उपलब्ध है। अब मरीज को दिल्ली या मुंबई जाने की जरूरत नहीं है।
सौंदर्या राय May 06 2023 0 62814
सौंदर्या राय March 09 2023 0 72869
सौंदर्या राय March 03 2023 0 71001
admin January 04 2023 0 69942
सौंदर्या राय December 27 2022 0 57993
सौंदर्या राय December 08 2022 0 48895
आयशा खातून December 05 2022 0 103008
लेख विभाग November 15 2022 0 72373
श्वेता सिंह November 10 2022 0 77091
श्वेता सिंह November 07 2022 0 69254
लेख विभाग October 23 2022 0 56477
लेख विभाग October 24 2022 0 54920
लेख विभाग October 22 2022 0 63750
श्वेता सिंह October 15 2022 0 68472
श्वेता सिंह October 16 2022 0 67475
COMMENTS