देश का पहला हिंदी हेल्थ न्यूज़ पोर्टल

स्वास्थ्य

मजीठा खून को साफ करने की अचूक जड़ी बूटी है। 

यह मूत्र संक्रमण, दस्त, खसरा और पुरानी बुखार का इलाज कर सकता है। अनियमित मासिक धर्म के इलाज के लिए मंजिष्ठा का उपयोग किया जा सकता है। यह जड़़ी बूटी स्वास्थ्य लाभ के साथ-साथ आपकी त्वचा के लिए भी फायदेमंद होती है, यह आपकी त्वचा में प्राकृतिक चमक लाने और इसे चमकाने के लिए आंतरिक और बाहरी दोनों प्रकार से उपयोग किया जा सकता है।

लेख विभाग
January 14 2021 Updated: January 14 2021 04:26
0 93519
मजीठा खून को साफ करने की अचूक जड़ी बूटी है।  फोटो मजीठा

- Dr.Ruby Raj Sinha, Homeopathic Physician
Pranic Healer, Apple Homeopathy

आयुर्वेद के अनुसार मंजिष्ठा या मजीठा खून को साफ करने वाली आयुर्वेदिक जड़ी बूटी है। यह रक्त को ठंडा और साफ कर खराब खून को दूर करने में मदद करता है। यह रक्त प्रवाह में आने वाले अवरोधों को कम करने में मदद करता है। मंजिष्ठा का उपयोग कर आप अपने मसूड़ों को भी स्वस्थ्य रख सकते हैं। इसे एंटीआक्सीडेंट गुणों से भरपूर माना जाता है। वैज्ञानिक अध्ययनों से पता चलता है कि यह रक्तचाप और रक्तवाहिकाओं के कसाव को नियंत्रित करने में मदद करता है। मंजिष्ठा के फायदे आपके शरीर में खून के थक्के जमने (blood clot formation) की समस्या और गठिया की संभावना को भी कम करता है।
अन्य उत्पादों के साथ, यह मूत्र संक्रमण, दस्त, खसरा और पुरानी बुखार का इलाज कर सकता है। अनियमित मासिक धर्म के इलाज के लिए मंजिष्ठा का उपयोग किया जा सकता है। यह जड़़ी बूटी स्वास्थ्य लाभ के साथ-साथ आपकी त्वचा के लिए भी फायदेमंद होती है, यह आपकी त्वचा में प्राकृतिक चमक लाने और इसे चमकाने के लिए आंतरिक और बाहरी दोनों प्रकार से उपयोग किया जा सकता है। यह चोटों, झुर्रियों और अन्य विकृतियों को हटाने में मदद करता है।
मंजिष्ठा या मजीठ का पौधा – 
यह पहाडि़यों में होने वाला झाड़ीनुमा आयुर्वेदिक पौधा होता है जिसमें रोम होते हैं। इसका तना पतला और चौकोर आकृति का होता है। इसके फूल बहुत ही छोटे, हरे और सफेद रंग के होते हैं। यह पौधा शाखाओं के समूह (branched cluster) में होता है। इसके फल गोलाकार और मांसल्य होते हैं। इस पौधे की ऊंचाई लगभग 1.5 मीटर तक होती है और इसमें पूरे साल पत्तियां होती हैं। इसकी जड़ों की छाल भूरी और लाल होती है जो लाल रंग का उत्पादन करने के लिए उपयोग की जाती हैं। मजीठ की जड़ और तना (stems and roots) हमारे लिए बहुत ही उपयोगी होते हैं।
मंजिष्ठा के फायदे –  
इस आयुर्वेदिक जड़ी बूटी में बहुत सारे पोषक तत्व होते है जो हमारे स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होते है। इसमें मजीठी (purpurin), मुजिस्टिन, जानथोपुरिन (xanthopurpurin) और छद्मपुरपुरिन की उपस्थिति अच्छी मात्रा में होती है। आइये जानते है मंजिष्ठा के फायदे के बारे में ।
मंजिष्ठा के फायदे त्वचा के लिए – 
जादा तर रूखी और झुर्रियों वाली त्वचा के उपचार में उपयोग की जाने वाली लगभग सभी प्रकार की क्रीमों में मंजिष्ठा का उपयोग किया जाता है। मंजिष्ठा एक रक्त शोधक है इसलिए यह विभिन्न त्वचा रोगों से राहत दिलाने में मदद करता है। यह खुजली एक्जिमा, सोरायसिस, त्वचा की जलन (dermatitis) और दाद (herpes) से राहत दिलाता है।
वजन कम करने में मंजिष्ठा का उपयोग – 
लसीका प्रणाली (lymphatic system) के उपचार के लिए मंजिष्ठा काफी हद तक जाना जाता है। लेकिन लिम्फैटिक समस्याएं आपके वजन को बढ़ा सकतीं हैं। वजन घटाने के लिए मांजिष्ठा का उपयोग करना फायदेमंद नहीं हो सकता है, लेकिन यदि आपकी समस्या लसीका संबंधी समस्याओं से संबंधित है तो मंजिष्ठा का उपयोग आपके लिए फायदेमंद हो सकता है। इसके अतिरिक्त यह वजन घटाने में सहायता करता है क्योंकि यह लीवर को स्वस्थ्य रखने में मदद करता है। इन परिणामें को वैज्ञानिक रूप से पुष्टि नहीं की गई है लेकिन फिर भी यह आपके वजन को कम कर सकता है ऐसा लोगों का मानना है।
मंजिष्ठा खाने के फायदे कैंसर को करें दूर –
वैज्ञानिक रूप से इसके प्रमाण नहीं हैं, लेकिन आयुवेर्द के अनुसार मांजिष्ठा में कैंसर विरोधी गुण होते हैं, खासतौर पर गर्भाशय और डिम्बग्रंथि के कैंसर के इलाज के लिए। कोलोरेक्टल कैंसर के उपचार के लिए यह सलाह दी जाती है कि इसके उपचार के लिए उपयोग की जाने वाली अन्य औषधीयों के साथ चार चम्मच मंजिष्ठा पाउडर का सेवन करना चाहिए। कुछ लोगों का कहना है कि यह कैंसर को प्रेरित करता है। इस कारण कैंसर उपचार के संयोजन के साथ किसी भी प्रकार के प्राकृतिक उत्पादों को लेने से पहले अपने ऑन्कोलॉजिस्ट (oncologist) से परामर्श जरूर लेना चाहिए।
मंजिष्ठा के गुण प्रजनन क्षमता बढ़ाने के लिए – 
पुरुष प्रजनन क्षमता और महिला बांझपन को दूर करने के लिए मंजिष्ठा का उपयोग किया जाता है। मंजिष्ठा में एक आयुर्वेदिक घटक होता है जिसे फलासरपी कहा जाता है। यह उन महिलाओं को भी ठीक करने में उपयोग किया जाता है जिन्होंने हाल ही में गर्भपात (miscarriage) का अनुभव किया हो। इसके कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं हैं लेकिन आयुर्वेद मानता है कि यदि इसका नियमित सेवन किया जाए तो यह फायदेमंद होता है।
दाद को ठीक करने में मंजिष्ठा के फायदे – 
एंटमिक्राबियल और एंटी-इंफलामैट्री गुणों की अच्छी मात्रा मंजिष्ठा में उपलब्ध रहती है। मंजिष्ठा के इन गुणों के कारण यह हमारे जननांग में होने वाली दाद (genital herpes) को दूर करने में मदद करती है। यह भी माना जाता है कि मंजिष्ठा में प्रतिरक्षा बढ़ाने की क्षमता होती है, जो बायरस आदि के खिलाफ शरीर की लड़ाई में मदद करती है। हालांकि अभी तक इस स्थिति का इलाज करने के लिए मंजिष्ठा के उपयोग करने के लिए चिकित्सकीय प्रमाण नहीं हैं। लेकिन यह माना जाता है कि यह दाद का प्रभावी इलाज कर सकता है।
मंजिष्ठा पाउडर के लाभ मुँहासों के इलाज में – 
अन्य औषधीय पौधों के साथ मंजिष्ठा युक्त सामयिक मलहम (topical ointments) और गोलियों का सेवन कर मुंहासों को दूर किया जा सकता है। 2013 के एक अध्ययन से पता चला है कि मंजिष्ठा और अन्य जड़ी-बूटियों के साथ इलाज किए जाने पर रोगियों के मुंहासे कम होना पाया गया। आप भी मंजिष्ठा का प्रयोग कर अपने चेहरे को सुंदर बना सकते हैं।
मंजिष्ठा के फायदे स्तन आकार को कम करने में – 
कुछ ऐसे मामले देखे गए है जिनमें कि पुरुषों और महिलाओं दोनों में स्तन के आकार को कम करने के लिए मंजिष्ठा को प्राकृतिक सामयिक उपचार के रूप में उपयोग किया जा सकता है, हालांकि इसका उपयोग अक्सर पुरुषों के लिए किया जाता है। यह एस्ट्रोजेन के स्तर (estrogen levels) को नियंत्रित करता है। यह एक वैज्ञानिक अध्ययन द्वारा समर्थित नहीं है, लेकिन कई लोगों का विश्वास है कि यह इस समस्या के लिए प्रभावी होता है।
बालों के लिए मंजिष्ठा पाउडर के लाभ – 
कई लोगों का मानना है कि मंजिष्ठा तेजी से बाल विकास को बढ़ावा देता है। बालों के झड़ने और स्वस्थ विकास के इलाज के उद्देश्य से मंजिष्ठा और अन्य जड़ी-बूटियों का उपयोग फायदेमंद होता हैं। हालांकि अनुसंधान ने अभी तक प्रयोग के माध्यम से इसकी पुष्टि नहीं की है।
मजीठ की जड़ के फायदे सूजन के इलाज में – 
पौधे की जड़ें प्राचीन काल से एंटी-इंफ्लामैंट्री (anti-inflammatory) के रूप में उपयोग की जा रही है। यह शरीर में आने वाली सूजन को दूर करने में मदद करती है। वैज्ञानिक शोध से पता चलता है कि कोलन कैंसर कोशिकाओं के विकास में मदद करने वाले प्रोटीनकॉम्लेक्स (protein complexes) को अवरुद्ध करके सूजन को कम करता है।
मंजिष्ठा जड़ी बूटी, पथरी दूर करने के लिए – 
मूत्र संबंधी विकारों को दूर करने के लिए मंजिष्ठा का उपयोग फायदेमंद होता है। मंजिष्ठा अग्न्याशय (pancreas), प्लीहा (spleen), यकृत और गुर्दे को साफ और नियंत्रित करता है। इन सभी अंगों में शरीर की पाचन और सफाई में एक महात्वपूर्ण भूमिका है। इन अंगों को विनियमित करके मंजिष्ठा अप्रत्यक्ष रूप से उचित पाचन और स्वच्छ शारीरिक प्रणाली को बढ़ावा देता है।
मंजिष्ठा काढ़ा मधुमेह अल्सर को ठीक करे – 
मधुमेह से पीडित लोग कभी-कभी पैर के अल्सर से ग्रस्त हो सकते हैं। यह एक नाजुक स्थिति है और जैसे ही वे दिखते हैं उनका उपचार आवश्यक रूप से किया जाना चाहिए। मंजिष्ठा में मधुमेह के अल्सर को ठीक करने की क्षमता होती है। इसे कैप्सूल या काढ़ा (decoction) के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है।
ट्यूमर को ठीक करने में मंजिष्ठा के उपयोग – 
कैंसर (Cancer) आजकल एक आम बीमारी की तरह लोगों को प्रभावित कर रहा है। कैंसर के बारे में सबसे निराशाजनतक बात यह है कि इसके लिए कोई ज्ञात इलाज नहीं है। मंजिष्ठा दोनों घातक और सौम्य (malignant and benign) ट्यूमर को नष्ट कर सकती हैं।
मंजिष्ठा के फायदे मासिक धर्म के दर्द को दूर करे – 
कुछ महिलाएं मासिक धर्म चक्र के दौरान बहुत अधिक दर्द का अनुभव करती हैं। मंजिष्ठा दर्दनाक मासिक धर्म के दौरान फायदेमंद है और गर्भाशय को प्रभावित करने वाली प्रसव संबंधी बीमारियों को भी दूर करने में मदद करता है।
मंजिष्ठादि क्वाथ के फायदे खून को साफ करें – 
अच्छी त्वचा और बालों के लिए शुद्ध रक्त की आवश्यक्ता होती है। मंजिष्ठा एक बहुत अच्छा रक्त शोधक (blood purifier) है। यह खून को साफ करता है और इससे सभी विषाक्त पदार्थों को हटा देता है। त्वचा रोगों के लक्षण प्रभावी रूप से मंजिष्ठा द्वारा दूर किये जाते हैं। यह प्रतिरक्षा (immunity) के स्तर को भी बढ़ावा देता है।
मंजिष्ठा के नुकसान – 
आयुर्वेदिक जड़ी बूटी मंजिष्ठा (Manjishtha) का सेवन करने से कोई नुकसान नहीं होता है। लेकिन फिर भी इसका सेवन हमें कम मात्रा में करना चाहिए। आइए जाने मंजिष्ठा से होने वाले नुकसान क्या हैं।
• मंजिष्ठा में वारफारिन और कौमामिन जैसे पदार्थ होते है जो आपके रक्त को पतला कर सकते हैं।
• मंजिष्ठा का सेवन करने से आपके मूत्र का रंग नारंगी या भूरे रंग का हो सकता है।
• यह आपके आंसू, लार और दूध को प्रभावित कर सकता है। हालाकि यह प्रभाव अस्थायी होते हैं।
• इसका सेवन करने से यह कैंसर का कारण बन सकता है।
• मंजिष्ठा तनाव और कब्ज (constipation) पैदा कर सकता है।
• गर्भवास्था (pregnancy) पर इसका सेवन नहीं करना चाहिए क्योंकि यह बच्चे को नुकसान पहुंचा सकता है।
• स्तनपान कराने वाली महिलाओं को इसका सेवन नहीं करना चाहिए।
किसी भी व्यक्ति को मंजिष्ठा का सेवन करने से पहले अपने डॉक्टर से सलाह लेना आवश्यक है।

WHAT'S YOUR REACTION?

  • 1
  • 0
  • 0
  • 0
  • 0
  • 0
  • 0

RELATED POSTS

COMMENTS

अंतर्राष्ट्रीय

कोरोना संक्रमण के चलते शंघाई स्थित चीन का वित्तीय केंद्र सील

हे.जा.स. April 13 2022 24175

कोरोना के लगातार बढ़ते मामलों के बीच चीन का वित्तीय केंद्र शंघाई सील है। ऐसे में भारतीयों को फिलहाल

स्वास्थ्य

बढ़ते वजन से हैं परेशान, तो खाइए ये हेल्दी स्नैक्स

आरती तिवारी August 18 2022 26201

यूं तो वजन कम करने के लिए एक्सरसाइज तो जरूरी है। उसके साथ हेल्दी डाइट भी आवश्यक है लेकिन इसके बावजूद

राष्ट्रीय

देश के चार राज्यों में बनेंगे मेडिकल डिवाइस पार्क, आत्मनिर्भरता के साथ बढ़ेंगे रोज़गार।

एस. के. राणा September 28 2021 25725

देश में उपकरण बनने से कीमतें घटेंगी और इलाज का खर्च भी कम हो जाएगा। कंपनियों की लागत घटने से भी उपकर

राष्ट्रीय

पूरे विश्व में 19 फ़ीसदी कम हुए कोरोना संक्रमण के मामले

एस. के. राणा February 17 2022 23847

पूरी दुनिया में कोरोना महामारी से फिलहाल राहत मिलने की खबर है। कई देशों में कोरोना संक्रमित घट गए है

उत्तर प्रदेश

जन औषधि दिवस की तीसरी वर्षगांठ पर मुफ्त दवा वितरण।

हुज़ैफ़ा अबरार March 08 2021 33887

जन औषधि योजना सेवा व रोजगार दोनों का माध्यम है। गरीब व्यक्ति भी इस योजना से सस्ती और अच्छी दवा प्राप

राष्ट्रीय

कोविड-19 वैक्सीन के खिलाफ अफवाह फैलाने वालों पर होगी कड़ी कानूनी कार्रवाई - केंद्र सरकार।

रंजीव ठाकुर January 26 2021 19084

राज्यों को बताया गया है कि ऐसे लोगों पर आपदा प्रबंधन कानून और आईपीसी की धाराओं के तहत कार्रवाई की जा

उत्तर प्रदेश

भ्रांतियों को दूर कर बचाएं कैंसर मरीजों का जीवन: संगीता

हुज़ैफ़ा अबरार February 09 2023 17753

आज भी कैंसर को लेकर कई तरह की भ्रांतियां मौजूद हैं, जिन्हें दूर करना बहुत जरूरी है। लक्षण नजर आने पर

राष्ट्रीय

राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान आयोग के निर्देश के बाद भी अस्पतालों में नहीं शुरू हुई बायोमेट्रिक हाजिरी

जीतेंद्र कुमार November 12 2022 21132

वहीं अधिकत्तर मेडिकल कॉलेज को एनआईसी से भी नहीं जोड़ा गया है।जबकि राजस्थान की सभी मेडिकल कॉलेज और र

राष्ट्रीय

बीडीके अस्पताल में मेडिकल कॉलेज निर्माण का काम शुरू

जीतेंद्र कुमार March 08 2023 33865

झुंझुनूं के समसपुर में बन रही मेडिकल कॉलेज शहर के निकट समसपुर गांव में 13.79 हैक्टेयर भूमि पर मेडिक

व्यापार

केंद्र सरकार ने दो फार्मा कंपनियों को बंद करने, तीन अन्य का विनिवेश करने का फैसला लिया।

हे.जा.स. February 11 2021 26055

सरकार ने IDPL और RDPL के सभी कर्मचारियों को स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति लाभ देने की पेशकश की है।

Login Panel